क्रिकेट न्यूज डेस्क।। क्रिकेट मैच में फील्डर बहुत अहम भूमिका निभाते हैं। वे रन बचाते हैं और विरोधी टीम के बल्लेबाजों को रन आउट भी करते हैं। इसके अलावा फील्डर बेहतरीन कैच लेकर मैच का रुख भी बदल देते हैं। अब मेरिलबोन क्रिकेट क्लब अक्टूबर 2026 से कैच से जुड़े बदलावों को शामिल करेगा। वहीं, ICC अगले महीने से नियमों को शामिल करेगा।
फील्डर गेंद को बाउंड्री लाइन के बाहर एक बार ही हवा में फेंक सकता है।
पहले फील्डर बाउंड्री लाइन पर खड़े होकर गेंद को हवा में फेंकता था। इसके बाद वह बाउंड्री लाइन के बाहर जाकर गेंद को हवा में फेंकता था और उस समय उसके पैर भी हवा में रहते थे। तब तक गेंद हवा में रहती थी। इसके बाद फील्डर छलांग लगाकर बाउंड्री लाइन के अंदर आते थे और कैच पूरा करते थे। अब फील्डर गेंद को बाउंड्री लाइन के बाहर जाने के बाद एक बार ही हवा में फेंक सकता है। यानी गेंद को बाउंड्री लाइन के बाहर हवा में फेंकने के बाद उसे सीधे बाउंड्री लाइन के अंदर कूदना होगा। तभी कैच मान्य होगा। वरना कैच मान्य नहीं होगा।
बॉल को पकड़ने के लिए दोनों खिलाड़ियों का बाउंड्री के अंदर होना जरूरी
पहले एक फील्डर बॉल को पकड़कर दूसरे फील्डर को दे देता था और खुद बाउंड्री के बाहर चला जाता था। फिर वह आसानी से बाउंड्री के अंदर आ जाता था। लेकिन अब दूसरे खिलाड़ी के बाउंड्री के अंदर कैच करने से पहले उस खिलाड़ी को भी फील्ड के अंदर आना होगा, तभी कैच मान्य होगा। कुल मिलाकर कैच मान्य होने के लिए दोनों खिलाड़ियों का बाउंड्री के अंदर होना जरूरी है।
माइकल नेसर के कैच पर हुआ था विवाद
बिग बैश लीग में माइकल नेसर के कैच को लेकर काफी विवाद हुआ था। उन्होंने बाउंड्री के बाहर जाकर दो बार कैच किया था। इसके बाद बल्लेबाज को आउट दे दिया गया था। नेसर के कैच के बाद उठे विवाद को शांत करने के लिए आईसीसी ने मैरीलेबोन क्रिकेट क्लब से कैचिंग नियमों की समीक्षा करने को कहा था। नेसर के कैच को लेकर एमसीसी ने सफाई देते हुए कहा कि बाउंड्री के अंदर कैच पूरा करने से पहले फील्डर ने ‘बन्नी हॉप’ किया था। बन्नी हॉप तब होता है जब कोई खिलाड़ी बाउंड्री से बाहर जाने के बाद हवा में छलांग लगाता है और गेंद को अंदर फेंककर उसे पकड़ लेता है।