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शेखावत बोले-कुर्सी के बीच में फैसला नहीं, गहलोत:अभी कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष थे; मातृ दुर्व्यवहार कांग्रेस के डीएनए का हिस्सा है

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प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा अपनी मां पर की गई टिप्पणी से उपजे विवाद के बीच, केंद्रीय जल शक्ति मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने कांग्रेस और पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत पर तीखा हमला बोला है। शनिवार को जयपुर में एक कार्यक्रम के दौरान मीडिया से बातचीत करते हुए शेखावत ने कहा कि मां एक संस्था होती है और उन पर हल्की टिप्पणी करना न केवल दुर्भाग्यपूर्ण है, बल्कि कांग्रेस के डीएनए का हिस्सा बन गया है।

शेखावत ने कहा कि वरिष्ठ कांग्रेस नेता अशोक गहलोत सत्ता और कुर्सी के मोह में इतने मग्न हैं कि वे सही-गलत का फर्क करना भूल गए हैं। उन्होंने दावा किया कि गहलोत ने उनकी मां पर भी अनुचित टिप्पणी की है, जो किसी भी रूप में स्वीकार्य नहीं है। उन्होंने इसे देश की राजनीति का दुर्भाग्य बताया और कहा कि राजनीति में मां जैसे पवित्र रिश्ते को निशाना बनाना बेहद निंदनीय है।

मोदी की लोकप्रियता विपक्ष को डरा रही है

शेखावत ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की बढ़ती लोकप्रियता विपक्ष को परेशान कर रही है। सरकार देशहित में जो भी फैसला लेती है, विपक्ष उसमें भी राजनीतिक मायने तलाशने लगता है। उन्होंने कहा कि देश की जनता इस मानसिकता को समझ चुकी है और इसी वजह से कांग्रेस जैसी पार्टियों पर लोगों का भरोसा बढ़ा है।

जीएसटी को लेकर कांग्रेस पर निशाना

केंद्रीय मंत्री ने जीएसटी पर कांग्रेस नेताओं के बदलते रुख पर भी कटाक्ष किया। उन्होंने कहा कि जो लोग कभी इसे ‘गब्बर सिंह टैक्स’ कहकर इसका विरोध करते थे और कहते थे कि सत्ता में आने पर इसे खत्म कर देंगे, आज वही इसे राहुल गांधी का सुझाव बता रहे हैं। शेखावत ने चुटकी लेते हुए कहा कि उनकी सरकार नहीं आ रही है, लेकिन ऐसे बयान उनकी विश्वसनीयता पर सवाल उठाते हैं। उन्होंने आगे कहा कि जीएसटी पुनर्गठन से पर्यटन क्षेत्र को काफी फायदा होगा। जब लोगों की जेब में पैसा बचेगा, तो खर्च बढ़ेगा और पर्यटन क्षेत्र को बढ़ावा मिलेगा। इससे न केवल पर्यटन बल्कि उपभोक्ता क्षेत्र को भी नई गति मिलेगी।

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