जीएसटी दरों में बदलाव के बाद अब सरकार ने देश के बजट की तैयारियाँ शुरू कर दी हैं। वित्त मंत्रालय ने बजट की तैयारियों को लेकर एक सर्कुलर जारी किया है। इसमें कहा गया है कि मंत्रालय और उससे जुड़े विभाग अक्टूबर 2026 के बजट की तैयारी शुरू कर देंगे।
खास बात यह है कि यह बजट अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा भारतीय वस्तुओं के आयात पर 50 प्रतिशत टैरिफ लगाए जाने के बाद आ रहा है। विशेषज्ञों का कहना है कि अगले साल फरवरी में पेश होने वाले बजट से पहले दोनों देशों के बीच किसी समझौते की संभावना नहीं है, इसलिए बजट में उन क्षेत्रों पर विशेष ध्यान दिया जाएगा जिन्हें ट्रंप के टैरिफ के कारण ज़्यादा नुकसान हुआ है। आइए इस खबर के माध्यम से आगामी बजट की तैयारियों के बारे में कुछ और जानकारी देते हैं।
बजट 2026 की तैयारी कब शुरू होगी?
वित्त मंत्रालय 9 अक्टूबर से 2026-27 के बजट की तैयारी शुरू करेगा। अमेरिका द्वारा भारत पर 50 प्रतिशत टैरिफ लगाए जाने और इससे पैदा हुई वैश्विक अनिश्चितताओं के बीच बजट की तैयारियाँ शुरू होने जा रही हैं।
अगले साल के बजट में माँग बढ़ाने के साथ-साथ रोज़गार के अधिक अवसर पैदा करने पर भी ज़ोर दिया जाएगा। इसके साथ ही, देश की अर्थव्यवस्था को आठ प्रतिशत से अधिक की सतत विकास दर तक ले जाने पर भी ध्यान केंद्रित किया जाएगा। सरकार का अनुमान है कि चालू वित्त वर्ष के दौरान देश की आर्थिक विकास दर 6.3 से 6.8 प्रतिशत के बीच रहेगी।
परिपत्र की कुछ मुख्य बातें
आर्थिक मामलों के विभाग के बजट परिपत्र (2026-27) के अनुसार, सचिव (व्यय) की अध्यक्षता में बजट-पूर्व बैठकें 9 अक्टूबर, 2025 से शुरू होंगी। परिपत्र में कहा गया है कि वित्तीय सलाहकार यह सुनिश्चित करें कि अनुलग्नक I से VII में आवश्यक विवरण 3 अक्टूबर, 2025 तक या उससे पहले ठीक से दर्ज कर दिए जाएँ।
निर्दिष्ट प्रारूप में डेटा की एक हार्ड कॉपी सत्यापन के लिए जमा की जानी चाहिए। वित्तीय वर्ष 2026-27 के लिए बजट अनुमानों को बजट-पूर्व बैठकों के पूरा होने के बाद अनंतिम आधार पर अंतिम रूप दिया जाएगा और संशोधित अनुमान (आरई) बैठकें नवंबर 2025 के मध्य तक जारी रहेंगी।